रायगढ़

नावापारा (पश्चिम) में श्रीमद् भागवत कथा के चौथे दिन धूमधाम से मनाया गया श्रीकृष्ण जन्मोत्सव

खरसिया। खरसिया के नावापारा (पश्चिम) में आयोजित सात दिवसीय संगीतमय श्रीमद् भागवत सप्ताह ज्ञान यज्ञ में 2 जनवरी को कथा के चौथे दिन भगवान श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का भव्य आयोजन किया गया। जैसे ही श्रीकृष्ण जन्म की कथा का प्रसंग प्रारंभ हुआ, पंडाल में उपस्थित श्रद्धालु “नंद के घर आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की” जैसे भजनों पर झूम उठे। आयोजन में श्रद्धालुओं ने आतिशबाजी कर जन्मोत्सव का उल्लास मनाया। मक्खन-मिश्री का प्रसाद भगवान को अर्पित कर सभी भक्तों में वितरित किया गया। यह आयोजन ग्रामवासियों के सहयोग और धर्मप्रेमी महिलाओं के द्वारा किया जा रहा है। कथा के मुख्य वक्ता पंडित दीपक कृष्ण महाराज ने भागवत महापुराण के विभिन्न प्रसंगों का सुंदर वर्णन करते हुए कहा कि जब-जब धरती पर अधर्म बढ़ता है, तब-तब परमात्मा अवतार लेकर धर्म की स्थापना करते हैं। उन्होंने भक्तों से आग्रह किया कि भगवत नाम सुनने का अवसर कभी नहीं छोड़ना चाहिए।

श्रीकृष्ण जन्म से पहले भगवान राम के अवतार की कथा सुनाई गई। राम जन्म, ताड़का वध, राम विवाह, वनवास, और राम राज्याभिषेक की लीलाओं का सुंदर वर्णन किया गया। पंडित जी ने कहा कि भगवान राम ने समाज के लिए आदर्श स्थापित किया, जो आज भी प्रासंगिक है। कथा के दौरान पंडित जी ने द्वापर युग के अत्याचारों का उल्लेख करते हुए बताया कि कैसे कंस के आतंक से मुक्ति दिलाने के लिए भगवान श्रीकृष्ण ने अवतार लिया। यह सात दिवसीय संगीतमय श्रीमद् भागवत कथा 30 दिसंबर से 6 जनवरी तक चल रही है। प्रतिदिन बड़ी संख्या में श्रद्धालु पंडाल में पहुंचकर कथा श्रवण कर रहे हैं।

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